केंचुआ खाद एवं जैवामृत से किसान को मिल रहा है अधिक मुनाफा
बडवानी
जिले के विकासखण्ड-बडवानी अन्र्तगत ग्राम-बगुद के किसान श्री लखन यादव पिता श्री रन्छोड यादव के पास कुल 10 एकड कृषि भुमि है। षिक्षा पूर्ण करने के बाद वैज्ञानिक पध्दति से खेती कर रहे श्री लखन यादव शुरूआत मे पारंपरिक फसलो की खेती करते थे।
कृषि विकास योजनान्र्तगत विकासखण्ड-बडवानी मे निर्मित जैविक क्लस्टर मे एल.आर.पी. के रूप मे सम्मिलित हुए और आत्मा परियोजना के अधिकारी व कर्मचारीयों के मार्गदर्शन मे अपने खेत मे रासायनिक खेती को छोडकर जैविक खेती अपनाकर सफलता प्राप्त की। परम्परागत कृषि विकास योजनान्र्तगत जैविक खेती उपयोग कर वेस्ट डिकम्पोजर, जैवामृत, बनाकर फसलो मे ड्रीप सिंचाई से चलाया ओर केंचुआ खाद निर्माण कर केले के बगीचे मे 1500 पौधो मे 8 क्विंटल 1 केंचुआ खाद इकाई से 2 बार मे तैयार कर उपयोग किया। जिससे केले कि फसल हरी-भरी स्वस्थ्य होकर मिटटी मे केंचुओ कि संख्या बढने से मिटटी भूरभुरी हो गई है। जैविक खेती अन्र्तगत केंचुआ खाद एवं जैवामृत बनाकर उपयोग करने लगे तो अधिक लाभ मिल रहा है ।