ग्‍वालियर में कांग्रेस नेता ने मुंह पर पोत ली कालिख

 ग्‍वालियर

मध्य प्रदेश में चुनावी नतीजे घोषित होने के बाद से अनोखे राजनीतिक घटनाक्रम देखने को मिल रहे हैं. भांडेर विधानसभा सीट से चुनाव जीते कांग्रेस नेता फूल सिंह बरैया ने दावा किया था कि प्रदेश में बीजेपी को अगर 50 सीटें मिल गईं तो वह अपना मुंह काला कर लेंगे. अब सूबे में बीजेपी की प्रचंड जीत के बाद कांग्रेस विधायक बरैया अपने कहे अनुसार राजधानी भोपाल में 7 दिसंबर को अपना मुंह काला करेंगे. लेकिन इससे पहले ग्वालियर में बरैया के समर्थक ने अपना मुंह काला कर बीजेपी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया. 

फूलसिंह बरैया के समर्थन में किसान कांग्रेस नेता योगेश दंडोतिया ने मुंह काला किया. इस मौके पर कांग्रेस के एक अन्य नेता राजेंद्र सिंह ने कहा कि हमारे नेता फूलसिंह बरैया को मुंह काला करने की जरूरत नहीं. बीजेपी दलितों का मुंह काला करना चाहती है. 

कांग्रेस नेता ने आगे कहा कि भाजपा ने 15 लाख रुपए हर व्यक्ति को देने का वादा किया था. किसानों की आय दोगुनी करने का वादा किया. भाजपा ने अपने वादे पूरे नहीं किए, इसलिए बरैया को भी मुंह काला करने की जरूरत नहीं.

     अब कांग्रेसी कार्यकर्ता अपने विधायक फूलसिंह बरैया को भोपाल जाकर मुंह काला करने से रोकेंगे. समर्थकों का कहना है कि कांग्रेस विधायक का मुंह काला नहीं, बल्कि सम्मान होना चाहिए. बरैया सही राम के वंशज हैं, क्योंकि 'प्राण जाएं पर वचन न जाए…' वाली बात को चरितार्थ कर रहे हैं.

कांग्रेस पदाधिकारियों ने आरोप लगाया कि बरैया को मुंह काला करने के लिए उकसाकर भाजपा दलितों का अपमान कर रही है. इसके उलट भाजपा को अपने वचन पूरे करना चाहिए.  

बता दें कि कांग्रेस नेता फूल सिंह बरैया का एक वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है. जिसमें वह मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी की 50 सीट आने पर खुद का मुंह काला करने की बात कर रहे हैं.

अब 3 दिसंबर को घोषित हुए नतीजों में बीजेपी की प्रचंड जीत के बाद सोशल मीडिया पर बहस छिड़ी है कि क्या फूल सिंह बरैया अब अपना मुंह काला करेंगे? aajtak से बात करते फूल सिंह बरैया ने कहा है कि वो अपनी बात पर कायम हैं और आगामी 7 दिसंबर को भोपाल राजभवन के सामने दोपहर 2 बजे अपने हाथों से मुंह काला करेंगे. 

पता हो कि दलित नेता फूल सिंह बरैया ने भांडेर सीट को 29 हजार 438 वोटों से जीता है. कांग्रेस के इस नेता ने बीजेपी उम्मीदवार घनश्याम पिरौनिया को हराया है. इस सीट पर 2018 के चुनाव में रक्षा संतराम सिरोनिया ने कांग्रेस के टिकट पर जीत दर्ज की थी. इसके बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ कांग्रेस छोड़कर रक्षा सिरोनिया ने बीजेपी का दामन थाम लिया था. 2020 चुनाव में रक्षा की फिर बीजेपी के टिकट पर जीत हुई. हालांकि, इस बार रक्षा का टिकट काटकर बीजेपी ने पूर्व विधायक घनश्याम पिरौनिया पर दांव लगाया, लेकिन वह पार्टी को जीत नहीं दिला सके. 

हालांकि, बीजेपी ने प्रदेश में 163 सीटें हासिकल करके दो तिहाई बहुमत जुटाया है जबकि कांग्रेस महज 66 सीटों पर ही सिमट गई. अब चुनाव के पहले फूल सिंह बरैया के दिए गए बयान पर बीजेपी ने भी चुटकी ली है. 

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