संजू त्रिपाठी हत्याकांड : भाजपा शासन में तो कलेक्टर और एसपी तक सुरक्षित नहीं थे
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बिलासपुर
हिस्ट्रीशीटर संजू त्रिपाठी की दिन दहाड़े गोली मारकर हत्या किए जाने को लेकर भाजपा के नेताओं ने न्यायधानी बिलासपुर और पूरे छत्तीसगढ़ में कानून व्यवस्था को लेकर सवाल उठाया तो बिलासपुर शहर विधायक शैलेश पांडेय ने आरोप लगाने वाले भाजपा नेताओं को आड़े हाथों लेते हुए कहा है कि भाजपा नेता पहले अपने 15 साल के कार्यकाल में छत्तीसगढ़ में कानून और व्यवस्था की स्थिति का आकलन करें उसके बाद आरोप लगाए भाजपा शासनकाल में समूचे छत्तीसगढ़ में कानून व्यवस्था की स्थिति लचर थी भाजपा शासनकाल में तो कलेक्टर और एसपी तक सुरक्षित नहीं थे यह घटनाएं भाजपा नेताओं को शायद याद नहीं रह गया है तो मैं उन्हें याद दिला देना चाहता हूं।
छत्तीसगढ़ को भाजपा की सरकार ने ही बनाया था नक्सलगढ़। भाजपा के नेता झीरम घाटी हत्याकांड को लगता है शायद भूल चुके हैं।भाजपा के राज में 15 सालो तक अपराधी बेख़ौफ़ थे।.. कांग्रेस की सरकार आने पर नक्सलियों पर शि कंजा कसा गया और उन्हें पीछे ढकेला गया।.. भाजपा सरकार में बिलासपुर में आईपीएस राहुल शर्मा की संदिग्ध मौत और पत्रकार सुशील पाठक की दिसंबर माह में ही गोली मारकर हत्या की वारदात जैसे घटनाएं बिलासपुर में घटी।
आज कानून व्यवस्था की स्थिति पर चिंता करने वाले भाजपा नेताओं की ही सरकार ने CBI को जांच में सहयोग नहीं किया था और इसीलिए मामले में हत्या की वारदातो से रहस्यों का खुलासा नहीं हो सका और अपराधी आज तक नही पकड़े जा सके। भाजपा शासनकाल में ही कलेक्टर एलेक्स पॉल मेमन का अपहरण हुआ था ।इसी तरह. बिलासपुर के जीत टॉकीज में गार्ड की पुलिस की पिटाई से मौत हुई थी . नसबंदी हत्याकांड किसके संरक्षण में बिलासपुर में हुआ और क्या कार्यवाही की गई थी यह सब जानते है।.15 सालों की पुलिस की कार्य प्रणाली पर कांग्रेस सरकार ने सुधार लाई । अपराधियों को संरक्षण देने वाले भाजपाइयों का अपराधगढ़ बनाने जैसा बयान देने हास्यास्पद है। प्रदेश की जनता भाजपा नेताओं के बहकावे में नहीं आने वाली है ।