बेरोजगारी, किसान और मणिपुर हिंसा जैसे मुद्दों से थे परेशान, संसद में हंगामा करने वालों ने पुलिस को बताया

नई दिल्ली
संसद की सुरक्षा में सेंध मामले में की जांच दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल कर रही है। बुधवार को हुई इस घटना में अब तक पांच लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि छठे के लिए दबिश दी जा रही है। लोकसभा में बीते दिन दो युवक विजिटर गैलरी से कूद गए थे और सदन में जमकर हंगामा किया था। इसके अलावा, दो अन्य लोगों ने संसद के बाहर जमकर हंगामा किया। चारों को गिरफ्तार करने के बाद गुरुग्राम से भी गिरफ्तारी की गई है। पूछताछ के दौरान यह पता चला कि छह आरोपी चार साल से संपर्क में थे और घटना से कुछ दिन पहले इसकी योजना बनाई थी। सूत्रों ने बताया कि उन्होंने सोशल मीडिया के माध्यम से बातचीत की और घुसपैठ से पहले के दिनों में संसद भवन की टोह ली।

पूछताछ के दौरान, आरोपियों ने पुलिस को बताया है कि सुरक्षा का उल्लंघन करने का उद्देश्य विभिन्न मुद्दों पर सरकार का ध्यान आकर्षित करना था। चारों आरोपियों ने पुलिस को बताया कि वे बेरोजगारी, किसानों की परेशानी और मणिपुर हिंसा जैसे मुद्दों से परेशान थे। इसके अलावा, उन्होंने कहा कि उन्होंने ध्यान आकर्षित करने के लिए रंगीन धुएं का इस्तेमाल किया ताकि कानून निर्माता इन मुद्दों पर चर्चा कर सकें। उन्होंने यहां तक कहा कि वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलना चाहते हैं और उनसे मुद्दों पर बात करना चाहते हैं। सभी आरोपियों के इन दावों से पुलिस अभी पूरी तरह से आश्वस्त नहीं है और अधिक जानकारी हासिल करने के लिए वह मोबाइल की भी जांच करने की तैयारी कर रही है। इन सभी के मोबाइल फोन एक आरोपी ललित झा के पास हैं और माना जा रहा है कि वह सबूत मिटाने के उद्देश्य से मोबाइल फोन लेकर फरार है। पुलिस ललित को ढूंढ रही है।

क्रांतिकारी की तरह लगता है एक आरोपी
वहीं, लोकसभा की कार्यवाही के दौरान बुधवार को दर्शक दीर्घा से सदन के भीतर कूदे दो लोगों में से एक मनोरंजन डी. सोशल मीडिया पर भगत सिंह फैन क्लब नामक पेज से जुड़ा है और वह क्रांतिकारी की तरह लगता है। पुलिस सूत्रों ने यह जानकारी दी। मैसूरु निवासी मनोरंजन (33) ने लखनऊ के सागर शर्मा के साथ संसद में नारे लगाए और 'केन' से पीले रंग का धुआं छोड़ा जिससे सदन में अफरा-तफरी मच गई। संसद की सुरक्षा में सेंध लगने के तुरंत बाद मैसूरु पुलिस हरकत में आयी और बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने वाले मनोरंजन के बारे में पता लगाने के लिए जांच शुरू कर दी। पुलिस सूत्रों ने गुरुवार को बताया कि जांच से पता चला है कि वह 'भगत सिंह फैन क्लब' से जुड़ा हुआ था। एक सहायक पुलिस आयुक्त ने 'पीटीआई-भाषा' से कहा, ''हमें उसकी किसी आपराधिक पृष्ठभूमि का पता नहीं चला है। वह काफी चुप रहने वाला व्यक्ति है लेकिन जिन किताबों को वह पढ़ता है उन्हें देखकर वह 'क्रांतिकारी की तरह' लगता है।''

यूएपीए के तहत मामला दर्ज
दिल्ली पुलिस ने संसद सुरक्षा चूक की घटना के संबंध में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत एक मामला दर्ज किया है। घटना के संबंध में संसद मार्ग पुलिस थाने में यूएपीए की धारा 16 (आतंकवादी कृत्यों के लिए दंड) और धारा 18 (साजिश आदि के लिए दंड) तथा भारतीय दंड संहिता की धारा 120बी (आपराधिक साजिश), धारा 452 (अवैध प्रवेश), धारा 153 (दंगा भड़काने के इरादे से जानबूझकर उकसाना), धारा 186 (लोक सेवक को सार्वजनिक कार्यों के निर्वहन में बाधा पहुंचाना) और धारा 353 (लोक सेवक को उसके कर्तव्य के निर्वहन से रोकने के लिए आपराधिक बल का इस्तेमाल करना अथवा हमला करना) के तहत मामला दर्ज किया गया है। यूएपीए के तहत अपराध गैर-जमानती हैं। पुलिस सूत्रों ने बुधवार को बताया कि सुरक्षा में सेंध लगाने के लिए कथित तौर पर छह लोगों ने पूरे समन्वय के साथ योजना तैयार की थी, इनमें से पांच को पकड़ लिया गया है।

 

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